मुर्शिदाबाद में ममता बनर्जी का कड़ा संदेश: ‘यहां के लोग हिंसा पसंद नहीं करते’, हुमायूं कबीर पर कार्रवाई के बाद दिया शांति का पैगाम






पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को मुर्शिदाबाद जिले में एक प्रशासनिक बैठक के दौरान कड़ा राजनीतिक संदेश दिया। भरतपुर के विधायक हुमायूं कबीर को पार्टी से निलंबित (सस्पेंड) करने के ठीक बाद, ममता बनर्जी ने स्पष्ट कर दिया कि जिले में हिंसा और भड़काऊ राजनीति के लिए कोई जगह नहीं है।




शांति और भाईचारे पर जोर

मुख्यमंत्री ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि मुर्शिदाबाद के लोग शांतिप्रिय हैं और वे हिंसा या दंगे पसंद नहीं करते। उन्होंने कहा, “कुछ लोग उकसाने की कोशिश कर सकते हैं, लेकिन हमें उनकी बातों में नहीं आना है। मुर्शिदाबाद अपनी संस्कृति, इतिहास और हिंदू-मुस्लिम एकता के लिए जाना जाता है।”
हुमायूं कबीर प्रकरण और कड़ा रुख
हालाँकि ममता बनर्जी ने अपने भाषण में सीधे तौर पर हुमायूं कबीर का नाम नहीं लिया, लेकिन राजनीतिक जानकारों का मानना है कि उनका यह संदेश सीधे तौर पर कबीर और उनके समर्थकों के लिए था। गौरतलब है कि तृणमूल कांग्रेस (TMC) ने हाल ही में हुमायूं कबीर को उनके विवादास्पद बयानों और पार्टी विरोधी गतिविधियों के कारण अनिश्चित काल के लिए सस्पेंड कर दिया है। सीएम ने साफ संकेत दिया कि पार्टी अनुशासन और सामाजिक सौहार्द के साथ कोई समझौता नहीं करेगी।
विकास कार्यों की समीक्षा
प्रशासनिक बैठक के दौरान, ममता बनर्जी ने जिले में चल रही विभिन्न विकास परियोजनाओं का भी जायजा लिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि:
बाढ़ कटाव की समस्याओं पर तुरंत ध्यान दिया जाए।
बीड़ी श्रमिकों और प्रवासी मजदूरों के लिए कल्याणकारी योजनाओं का लाभ सुनिश्चित किया जाए।
आम जनता को सरकारी सेवाओं के लिए परेशान न होना पड़े।
